Saturday 26 August 2017

डेरा प्रकरण: सलाम पत्रकार छत्रपति और बहादुर साध्वियों को

कब तक इस तरह की चौखटों पर माथे रगड़ेंगे सत्ता लोलुप नेता?
Special Report : FIB :⇒ Media Information Bureau
           यह एक सत्य है की कलम के सिपाही अगर सो गए तो बेचने वाले वतन के साथ मुर्दे का कफ़न तक बेंच देते है। अगर देश की सीमा और सुरक्षा की जिम्मेदारी सेना करती है तो देश के अंदरूनी ,सामाजिक और हर बुराइयों के खिलाफ लड़ने वाले कलम के सिपाही मीडिया के जांबाज लेखक, रिपोर्टर,फोटोग्राफर , व मीडिया से जुड़े लोग करते हैं मीडिया के ताकत पर ही देश अंदर से सुरक्षित है। हरियाणा के राम रहीम प्रकरण के सन्दर्भ में जितना डेरा प्रमुखी  जिम्मेदार है  उससे ज्यादा सड़ी गली राजनीति और राजनीति के तथाकथित नेता लोग जिम्मेदार हैं।    
नयी दिल्ली//लुधियाना//सिरसा//पंचकूला: 25 अगस्त 2017  (FIB मीडिया टीम)::
जो लोग पत्रकारों पर छींटाकशी करते नहीं थकते उनको शायद समझ में आ गया हो कि हाल ही में जो लंका जली है उसको जलाने के लिए एक बहादुर पत्रकार रामचंद्र छत्रपति ने युद्ध की घोषणा की  इसमें डाली आहूति। इस लंका को जलाने में है उन दो बहादर साध्वियों की हिम्मत जिन्होंने समझ लिया था की डर के आगे जीत है। अगर उन्होंने इस डेरे में आते बड़े बड़े लोगों की ताक़त को देख क्र घुटने तक दिए होते तो आज सारी हकीकत दुनिया के आमने नहीं खुलती। 

जिसकी ताकत के आगे सरकारें भी नतमस्तक रहीं, हर दल के नेता भी, बड़े बड़े लोग भी--उस डेरा सच्चा सौदा प्रमुख की हकीकत का सामने लाने तथा उसके दुष्कर्म को अंजाम तक पहुंचाने के पीछे कई ऐसे नाम हैं जो चर्चा में नहीं आए। हम उन सभी को सलाम करते हैं। इनमें दिवंगत पत्रकार राम चंदेर छत्रपति, दो पीड़ित साध्वियां तथा सीबीआई अधिकारी सतीश डागर।श्री डगर नहीं होते तो शायद डेरे प्रमुख इस अंजाम तक नहीं पहुंच पाते।   

गौरतलब है कि 15 साल पहले डेरा के अंदर साध्वियों के साथ हुए यौन उत्पीड़न को पत्रकार राम चंदेर छत्रपति ने ही उजागर किया था से साप्ताहिक अख़बार के ज़रिये। उस अख़बार का नाम  है 'पूरा सच' जो सचमुच सच बोलता था।  इस अखबार को निकालने वाले छत्रपति ने डेरा का पूरा सच और एक गुमनाम पत्र को अपने अखबार में छाप दिया जिसमें दो साध्वियों के साथ बलात्कार और यौन हिंसा की बात स्पष्ट लिखी गयी थी। यह गुमनाम पत्र उस वक्त के प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को भी भेजा गया था। इस सरे मामले को छापने के कुछ ही समय के भीतर छत्रपति जी पर हमला हुआ। पत्रकार छत्रपति की हत्या गयी। यौन शोषण की शिकायत करने वाली दो साध्वियों के भाई रंजीत की भी हत्या की गयी। एक पत्रकार ने सच के लिए जान दे दी। एक भाई को बहनों की इज़्ज़त की रक्षा के लिए जान गंवानी पड़ी। इस सब के बावजूद सत्ता लोलुप नेताओं ने बाबा के दरबार में जा कर माथे रगड़ना नहीं छोड़ा।  

इस सारे सच को दुनिया के सामने लाने राम चंदेर छत्रपति को शहीद कर दिया गया। एक हंसता मुस्कुराता साहसिक पत्रकार बीच शहर में मार दिया गया। सत्ता से चिपके रहने की चाह में जीने और मरने वाले नेताओं को फिर भी शर्म नाहिंन आयी। राम चंदेर के बेटे अंशुल ने मीडिया को बताया कि एक बार जब लड़ने का फैसला कर घर से निकले तो रास्ते में बहुत से अच्छे लोग भी उन्हें मिले। तमाम दबावों के बाद भी कुछ लोगों ने हमारा और साध्वियों का ही साथ दिया। 

अंशुल बताते हैं-यही नहीं सीबीआई के जाबांज़ डीएसपी सतीश डागर न होते तो यह केस अपने मुकाम पर नहीं पहुंच पाता। सतीश डागर ने ही साध्वियों को मानसिक रूप से तैयार किया। एक लड़की का ससुराल डेरा का समर्थक था। जब उसे पता चला कि उसने गवाही दी है तो उसे तुरंत घर से निकाल दिया गया। इसके बाद भी लड़कियां तमाम तरह के दबावों और भीड़ के खौफ का सामना करती रहीं। नवरात्र के व्रत रखने और देवी के 9 रूपों  वाले समाज ने साथ भी दिया तो रावण और कौरवों का। किसी महिला संगठन ने अब भी इस मुद्दे को नहीं उठाया।  

सतीश डागर नहीं होते तो ये लोग खौफ का सामना नहीं कर पाते। वही इनके लिए नैतिक हिम्मत बने। अंशुल ने बताया कि सतीश डागर पर भी बहुत दबाव पड़ा। मगर वह नहीं झुके। बड़े-बड़े आईपीएस ऐसी हिम्मत नहीं जुटा पाते हैं मगर डीएसपी सतीश डागर ने कमाल का साहस दिखाया। अंशुल ने बताया कि पहले पंचकूला से सीबीआई की कोर्ट अंबाला में थी। जब ये लोग वहां सुनवाई के लिए जाते थे तब वहां भी बाबा के समर्थकों की भीड़ आतंक पैदा कर देती थी। हालत यह हो गई कि जिस दिन सुनवाई होती थी और बाबा की पेशी होती थी उस दिन अंबाला पुलिस लाइन के भीतर एसपी के ऑफिस में अस्थायी कोर्ट बनाया जाता था। छावनी के बाहर समर्थकों का हुजूम होता था. ऐसी हालत में उन दो साध्वियों ने गवाही दी और डटी रहीं, आसान बात नहीं उस बाबा के खिलाफ जिससे मिलने कांग्रेस, अकाली दल और  भाजपा के बड़े-बड़े नेता सलामी देने जाते थे। अय्याशी और खौफ के साम्राज्य के उस किले में बाबा के चेले क्या सीख रहे थे यह सब अब पूरे देश के साथ दुनिया ने भी देख लिया। क्या इस तरह सत्ता के सामांतर किले खड़े करने वाले  भी कोई सबक सिखाया जायेगा? क्या इस तरह के डेरे अब भी चलते रहेंगे।  क्या अब भी जारी रहेगा इन डेरों के अंदर इन बाबाओं कानून? सत्ता लोलुप नेता अब भी इसी तरह इस चौखटों पर माथे रगड़ रगड़ कर देश और समाज को बेबस करते रहेंगे?  

Wednesday 23 August 2017

FIB,फर्स्ट इन्वेस्टीगेशन ब्यूरो की अपील

      शांति व्यवस्था बनाये रखने में प्रशासन का पूरा  सहयोग  करें।  
    FIB :⇒ ( First Investigation Bureau 
याद रखें देश समाज की सेवा से बढ़कर और कोई सेवा नहीं, देश हित का कार्य हर नागरिक का फ़र्ज़ है ।         
   
     लुधियाना :23 अगस्त       आज  कल धार्मिक मुद्दे को लेकर देश प्रदेश का माहोल कुछ तनाव की स्थिति में है। खाश तौर पर पंजाब ,हरयाणा के सन्दर्भ में सभी   ( FIB )  फर्स्ट इन्वेस्टीगेशन ब्यूरो  संगठन के सदस्यों से अपील है की वे कोई भी ऐसा कार्य न करें जिससे कानून व्यवस्था में व्यवधान पड़े ,  किसी भी अफवाह को आगे न बढ़ाये।  और न  किसी  अफवाह पर ध्यान  दें और न ही  किसी को अफवाह फ़ैलाने दें  ।  कानून व्यवस्था बनाये रखने में पुलिस प्रशासन का पूरा सहयोग करें।  


 

    

Sunday 20 August 2017

हर तरफ से चौकसी ही देश और देशवासिओं को सुरक्षित रख सकती है।


अगर हम पडोसी मुल्क की चाल से सावधान नहीं रहे तो युद्ध के बिना हमें बहुत नुकसान  उठाते हुए  तबाही का मंजर देखना पड़ सक्ता है। 
FIB : ⇒ Information Service
   
  देश की सीमा पर दोनों देश चीन और पाकिस्तान की तरफ से तनाव की स्थिति बानी हुई है, लेकिन मौजूदा समय में चीन  की तरफ से प्राकृतिक आपदा  के नामपर खतरा सर पर मंडरा रहा है।  यह खतरा है ब्रह्मपुत्र नदी के पानी का , विश्व भाई चारे के मुताबिक  किसी भी देश की नदी का पानी दूसरे देश से गुजरता है तो नदी के पानी की स्थिति की जानकारी पडोसी देश जहाँ से पानी गुजरता है उस मुल्क को देने का प्रावधान है। लेकिन चीन ने तनाव की स्थिति में हमारे देश को कोई जानकारी नहीं दी है जबकि ब्रह्मपुत्र नदी  बरसात के दिनों में हमारे देश के आसाम के साथ कई इलाकों के इलावा बांग्लादेश में तबाही  मचाती है  लेकिन  ? ? चीन के क्षेत्र में ब्रह्मपुत्र नदी पर लगभग तीन बांध ( डैम ) बने हुए हैं, अगर वह बगैर सुचना दिए अपने बांध का पानी खोल दिया तो तबाही का मंजर असम ,बंगाल तथा अन्य इलाकों में कहर बरपाते देखा जा सकता है, जान माल का कितना नुकसान होगा उसका आंकड़ा बाद में पता चलेगा। भौगोलिक इस्थिति से चीन भारत से ऊँचे स्थान पर पड़ता  है ,वैसे भी चीन से कई नदियां निकलती हैं।  ब्रह्मपुत्र के इलावा  सतलुज  और सिंधु भी निकलते हुए पंजाब से होते हुए अरब सागर तक जाती हैं। वैसे भी इन दिनों बरसात का मौसम है भारत सरकार को दुश्मन के हर चाल के काट के साथ बचाव का पूरा प्रबंध हमेसा रखना ही हितकर है। 
        यह एक सच्चाई है की इतनी वक्त भारत देश पुरे विश्व में तेजी से प्रगति करते  हुए हर क्षेत्र में आगे बढ़ रहा है, इस प्रगति से पास पड़ोस और अमेरिका तक जलभुन कर चिढ़े हुए हैं ,और ऐसे देश भारत देश की प्रगति रोकने के लिए साम ,दाम,दण्ड ,भेद ,   राजनीति  कूटनीति ,धर्मनीति और रणनीति के नामपर देश को कमजोर करने का प्रयास कर रहे हैं। इस लिए  देश के जिम्मेदार कर्णधार ,लोगों की जिम्मेदारी हदसे ज्यादा बढ़ गयी है , देश की सीमा की सुरक्षा हो या देश की आंतरिक सुरक्षा हो , अन्य क्षेत्र की बात हमारी चौकसी हमारी तैयारी ही हमारे देश को सुरक्षित खुश हाल रख सकती है। 

Friday 18 August 2017

स्वतंत्रता दिवस धूमधाम से मनाया गया।


फर्स्ट इन्वेस्टीगेशन ब्यूरो द्वारा  स्वतंत्रता दिवस धूमधाम मनाया गया। 
FIB :Media ⇒ Service
 लुधियाना  16 अगस्त  : राष्ट्रिय अपराध व् नशा विरोधी जाँच पड़ताल गुप्तचर मीडिया सर्विस : फर्स्ट इन्वेस्टीगेशन ब्यूरो: (FIB) की तरफ से  राष्ट्रिय पर्व  स्वतंत्रता दिवस मुख्य कार्यालय  न्यू कुंदन पुरी सिविल लाइन्स लुधियाना में ब्यूरो के अध्यक्ष डॉ. भारत की अध्यक्षता में बड़ी धूम धाम से मनाया गया। 

                                                                                                        

देश के प्रत्येक नागरिक का कर्तव्य ही नहीं धर्म  है की राष्ट्रिय पर्वको हर्षोउल्लास 
के साथ मनाये 

 मंच  पर बैठे मुख्य अतिथि माननीय CJM   मैडम गुरप्रीत कौर , विधायक राकेश पण्डे , व अन्य गणमान्यों को गणतंत्र की बधाई देते एंव संगठन की जानकारी देते हुए                                                    


मंच पर बैठे मुख्य अतिथि माननीय CJM   मैडम गुरप्रीत कौर , विधायक राकेश पण्डे , व अन्य गणमान्यों को गणतंत्र की बधाई देते एंव संगठन की जानकारी देते हुए  संगठन के अध्यक्ष डॉ भारत।     इस समाहरोह के मुख्या अतिथि न्यायधीश  ( चीफ जुडीशियल मजिस्ट्रेट   C J M ) मैडम गुरप्रीत कौर और मुख्य मेहमान पंजाब सरकार के सीटी विधायक श्री राकेश पण्डे थे। विशेष मेहमानो में इंटेक के प्रधान एंव बेलन ब्रिगेड के प्रेजिडेंट अनीता शर्मा , पंजाब कांग्रेस के सचिव चन्दर सेखर सहोता , स्थानीय नेता सरदार दलीप सिंह लीसा ,  ... के प्रधान स्वीटी बत्रा , ,,      . .  इस अवसर पर राष्ट्रिय झंडा फहराने की रस्म न्यायधीश गुरप्रीत कौर एवं राकेश पाण्डे ने संयुक्त रूप में अदा की। इस औसर पर समाहरोह के मंच से  न्यायधीश CJM  गुरप्रीत कौर ने स्वतंत्रता दिवस की बधाई देते हुए मौजूदा  समाज की कठिनाइयों से जूझ रहे लोगों और    न्याय प्रणाली की जानकारी देते हुए डॉ. भारत द्वारा मीडिया संगठन क्राइम फ्री इंडिया ब्यूरो   एंव FIB, फर्स्ट इन्वेस्टीगेशन ब्यूरो द्वारा किये जा रहे कार्यों की सराहना की।  माननीय न्यायधीश महोदय ने कहा कि जिस तरह से डॉ. भारत संगठन के तहत कार्य कर रहे हैं आज देश समाज को ऐसे ही लोगों की जरुरत है जो निस्वार्थ भाव से देश समाज की सेवा कर सकें। इस मौके पर  माननीय  गुरप्रीत कौर ने भविष्य में  डॉ. भारत एवं फर्स्ट इन्वेस्टीगेशन ब्यूरो को  पूरा सहयोग दने का बचन दिया।  इसके बाद मंच से  राकेश पण्डे ने जहाँ पंजाब सरकार द्वारा किये जारहे कार्यों की जानकारी दी वहीँ डॉ, भारत द्वारा फर्स्ट इन्वेस्टीगेशन ब्यूरो के तहत किये जा रहे कार्यों की सराहना की  समारोह में संगठन के प्रेजिडेंट ओंकार पूरी  राष्ट्रिय सचिव रेक्टर कथूरिअा , राष्ट्रिय   इन्वेस्टीगेशन अफसर राकेश जैसवाल , सलाहकार प्रदीप शर्मा , सलाहकार प्रोफ़ेसर  विशाल कांत, इन्वेस्टिगेटर आर के बत्रा , जनसम्पर्क अधिकारी , शशि जैस्वाल , अधिकारी सोनू शर्मा , हरप्रीत सिंह , सुचना अधिकारी इंदरजीत जैस्वाल , सुचना अधिकारी सोहन कु. साहनी , अरुण कुमार ,आजमगढ़ के अधिकारी  दशरथ  कुमार , आनंदपुर साहिब से बलबीर  , तरन तारन से जगतार सिंह,उनके साथी , अस्वनी सग्गी, गौरव सग्गी व अनेक गणमान 

Wednesday 16 August 2017

देश के दुश्मनों पर पैनी नज़र है FIB की

हर्षोल्लास से मनाया स्वतंत्रता दिवस 
सारी उम्र इसी जनून में गुज़ार दी है डाक्टर भारत ने 
सीजेएम डा गुरप्रीत कौर जी को सुस्वागतम कहते हुए डा. भारत 
लुधियाना: 16 अगस्त 2017: (FIB मीडिया टीम):: 
15 अगस्त को FIB मीडिया ने भी न्यू कुंदनपुरी में स्वतंत्रता दिवस हर्षोउल्लास से मनाया। आयोजन डाक्टर भारत की देखरेख में हुआ। मुख्य मेहमान के तौर पर विशेष समय निकल कर शामिल हुईं सीजेएम डा. गुरप्रीत कौर। विशेष मेहमान थे एम एल ए राकेश पांडे और बेलन ब्रिगेड प्रमुख अनीता शर्मा। सीजेएम डा. गुरप्रीत कौर और विधायक राकेश पांडे ने झंडा लहराने की रस्म संयुक्त तौर पर अदा की। एनजीओ "मानवता" की प्रधान स्वीटी बत्तरा  भी प्रमुख आयोजकों में रहीं। 
NGO मानवता की प्रमुख स्वीटी बत्तरा एफ आई बी कार्यालय में 
इस मौके पर मीडिया से बता करते हुए FIB मीडिया के चेयरमैन डाक्टर भारत ने स्पष्ट किया कि मैंने अपनी सारी उम्र देश की सेवा में लगाई है और यह सिलसिला आखिरी सांस तक जारी रहेगा। न मुझे आज तक कोई डरा सका न ही कोई खरीद सका। उन्होंने कहा कि इस देश की धरती का पानी पिया है। इसकी हवा में सांस ली है। एक एक सांस क़र्ज़ की तरह है। खून की आखिरी बूँद भी बहानी पड़ी तो हम पीछे नहीं हटेंगे। उन्होंने कहा की देश को दरपेश खतरों के संबंध में उनके नेटवर्क ने बहुत कुछ जुटाया है जिसका खुलासा हम जल्द ही करेंगे।  फ़िलहाल इसकी सूचना भारत सरकार को दी जा चुकी है। 
गौरतलब है कि बहुत सी आतंकी घटनाओं की आशंका डाक्टर भारत ने बहुत पहले ही जता दी थी। इसकी चर्चा कई बार मीडिया में भी हो चुकी है। इसी जनून में डाक्टर भारत ने अब तक न अपना कुछ बनाया न ही अपने परिवार का। अब देखना है उनका यह जनून देश को आगे बढ़ाने में कितनी जल्द सहायक होता है। 
इसी बीच NGO मानवता की प्रमुख स्वीटी बत्तरा ने डा भारत और FIB मीडिया की प्रशंसा करते हुए कहा कि देश और जनता की भलाई  हम  FIB को हर सम्भव सहयोग देंगें। 

Friday 11 August 2017

"पत्रकारों पर आर्थिक दबाव" की चर्चा ने पहचाना मीडिया का दर्द

मीडिया सेमिनार ने दिया आर्थिक हालात सुधारने का हौंसला 
लुधियाना: 11 अगस्त 2017: (FIB मीडिया ब्यूरो):: 
सेमिनार का विषय भी अजीब था। पत्रकारों पर आर्थिक दबाव। बस हाल ही गुज़री 9 अगस्त 2017 को हुआ था इसका आयोजन। विषय अछूता सा था पर फिर भी अजीब सा लगा। 
मन में सवाल उठा-भला यह दबाव आजकल किस पर नहीं होता? 
पूछने पर बात खुली कि आम तौर पर मीडिया कर्मियों ने खुद सहेड़ा होता है यह आर्थिक दबाव। मीडिया संस्थान इनके इस तरफ झुकाव का पूरा फायदा उठाते हैं और इनका शोषण करते हैं। दुनिया के भले की आकांक्षा को लेकर अपने भले को दांव पर लगा देते हैं ये पत्रकार तांकि दुनिया का कुछ संवर सके। वे खुद रातों को जाग कर दुसरों को सावधान करते हैं। समाज को जगाये रखने वाले बिन तनखाह के प्रहरी। 
लेकिन अब बहुत हो गया। क़ुरबानी के नाम पर भावुक शोषण का यह सिलसिला लम्बे समय से जारी है।
बहुत बार बहुत से नामों तले इस तरह के मामले उठे, नारे भी लगे, संगठन भी बने, संघर्ष भी चले लेकिन प्रधानगी और दुसरे फायदों का सौदा तय होते ही भले की यह बात नारों तक सिमट कर रह जाती। हमारे पास सबूत और विवरण भी हैं। इसके बावजूद हम संकेतिक भाषा का इस्तेमाल ही उचित समझते हैं।
भावुकता की हद तक मीडिया से जुड़े इन पत्रकार साथियों के कंधों पर चढ़ कर इनके ही साथी बड़े बड़े पदों पर सत्ता सुख भोगने पहुंच जाते।  कोई सांसद बन गया और कोई मंत्री और कोई किसी बड़े नेता का पीआरओ या प्रेस सचिव। बाकी के पत्रकार खिसियानी बिल्ली की तरह कोई नया नेता या नयी यूनियन या कोई नया संगठन बनाते या तलाशते रह जाते। दिल में गुस्सा उठता, दिमाग में तूफ़ान खड़े होते लेकिन इस सब से इनका अपना ही दिल जलता। इनका फायदा उठाने वाले इन्हें कोई झूठा सा नया सपना दिखा कर खिसक लेते। ये बेचारे संघर्ष की आग में तपते रह जाते।
फिर यह गर्मी भी ठंडी हो गयी। संघर्ष की बात अतीत का हिस्सा बन गयी। झगड़ा उठता भी तो किसी न किसी नाम से क्लब बना कर प्रधानगी तक सिमट कर रह जाता। सिद्धांतो, मांगों और मुद्दों की बात किसी गए गुज़रे ज़माने की बात बन गयी।
पत्रकारों के संघर्ष और दमखम की बात याद करने और कराने का प्रयास था यह सेमिनार। कम से कम दीप जगदीप की बातें सुन कर तो यही लगा। पुराने अनुभव के साथ अब नया जोश भी शामिल है। 
इस सेमिनार के बाद लगा कि संख्या में कम ही सही पर कलम के सिपाही अब आर-पार की जंग के लिए तैयार हैं। फैसला कठिन था लेकिन करना पड़ा। इसके इलावा कोई चारा भी नहीं था शायद। इस मकसद के लिए 21 सदस्यों पर आधरित विशेष कार्य समिति बना दी गयी है। जो इस समस्या के हल पर भी ठोस काम करेगी।
थोड़ा पीछे पलट कर देखें तो तस्वीर और स्पष्ट हो सकेगी। उल्लेखनीय  है कि खुद को "शुद्ध स्वदेशी" और "असली" समझने वाले मीडिया के ही कुछ लोगों ने अपने दुसरे भाईबंदों को "चाईना" कहना शुरू कर दिया था। पहले तो हमें बात ही समझ में नहीं आई लेकिन जब कुरेदा तो पता चला कि "चाईना" उन पत्रकारों को कहा जाता है जिनकी खबर उनके नाम से कहीं नज़र नहीं आती लेकिन वे हर जगह कवरेज के लिए मौजूद होते हैं। अब थोड़ी सी चर्चा "चाईना" कहे जाने वाले मीडिया कर्मियों की हकीकत पर भी की वे क्यों हर जगह होते हैं और उनकी खबर कहीं दिखती नहीं।
वे मीडिया में आते हैं बड़े जोशी खरोश से लेकिन इस मकसद के लिए आवश्यकता होती है किसी न किसी अख़बार या चैनल की। जब यह नए पंछी वहां सम्पर्क करते हैं तो इनको नज़र आने लगता है कि इतना आसान भी नहीं है कोई मीडिया संस्थान ज्वाइन कर लेना। वहां स्कियोरिटी की रकम, ब्लैंक चैक और घर की रजिस्ट्री की मांग... समझ आने लगता है मीडिया कर्मी बनने का भाव। फिर इन्हें खुद को असली कहने वाले पत्रकार अपने अपने ग्रुप में शामिल करते हैं। काम ये लोग करते हैं और नाम इनके ग्रुप लीडर का होता है। स्थिति यहाँ तक क्यों पहुंची इसके लिए भी मीडिया कर्मी खुद ज़िम्मेदार हैं। बात लम्बी है इस लिए फिर कभी सही। फ़िलहाल समस्या की एक झलक मात्र तांकि अंदाज़ा हो सके कि शोषण करने वालों में खुद मीडिया कर्मियों के अपने साथी भी पीछे नहीं रहते। 
चलो शोषण करने वाले तो शोषण करते ही हैं। दर्द उस समय और बढ़ता है जब अपने ही लोग काम का पैसा दिलवाने के लिए दिखाई देते संघर्षों के नाम पर विरोधी गुट के साथ मिले हुए नज़र आते हैं।
मीडिया संगठन के लिए पदाधिकारियों के चुनाव या सदस्यता की बात चले तो पूछते हैं--क्या आपको तनखाह मिलती है?  स्पष्ट जवाब भी देते है कि कि अगर तनखाह नहीं मिलती तो हम आपको पत्रकार नहीं मानते। सब कुछ पता होने के बावजूद वे इन लोगों को कभी "चाईना" कहते हैं और कभी कुछ और। कोई नहीं कहता कि अगर आपको काम के बावजूद आपको कूछ नहीं मिलता तो हम देखते हैं कौन नहीं देता आपको आपके काम की मेहनत। कोई नहीं कहता कि देखते हैं  कौन मारता है आपकी तनख्वाह।  इन "चाईना" कहे जाने वाले पत्रकार लोगों का दर्द पहचाना है "द पीपुल्स मीडिया लिंक" नेजन मीडिया मंच की ओर से आयोजित इस  सेमिनार में इस  विषय पर बारीकी से चर्चा हुई।  आने वाले दिनों में शायद और भी बहुत कुछ ऐसा होगा जो मीडिया की मौजूदा हालात की तस्वीर में नए रंग भरेगा।  क्या आप तैयार हैं?  

Sunday 6 August 2017

माई अर्थ माई रिस्पोंसीबिल्टी पर DJJS का विशेष आयोजन

Sat, Aug 5, 2017 at 1:36 PM  
दिव्य ज्योति जागृति संस्थान की तरफ से विशेष अभियान 
लुधियाना: 5 अगस्त 2017: (FIB मीडिया ब्यूरो):: 
दिव्य ज्योति जागृति संस्थान जिसके संचालक श्री आशुतोश महाराज जी हैं, की ओर से लुधियाना में आज 5 अगस्त 2017 को एक स्थानीय होटल में एक प्रैस कांफ्रेंस का आयोजन किया गया। यह आयोजन संस्थान की लुधियाना शाखा की ओर से चलाई जा रही मुहिम माई अर्थ माई रिसपोंसीबिल्टी से संबंधित किताब माई अर्थ माई रिसपोंसीबिल्टी चैप्टर-अ रिपोर्ट जुलाई 2014 दिसंबर 2016 के विमोचन के संबंध में था। 
इस संबंध में संस्थान के नेचर कंजरवेशन प्रोग्राम की मुख्य इंचार्ज साध्वी आदिति भारती, प्रचारक साध्वी परमा भारती तथा लुधियाना के माई अर्थ माई रिस्पोंसीबिल्टी प्रोग्राम के इंचार्ज तरसेम सिंह ने प्रैस के समक्ष विमोचन की जाने वाली किताब के बारे में जानकारी दी। 
प्रैस को संबोधित करते हुए साध्वी सुश्री आदिति भारती ने कहा कि पर्यावरण का सरंक्षण एक दिन की क्रिया नहीं है, यह तो एक जीवनशैली है, इस जीवन शैली का संचार तथा प्रारंभ करना आसान कार्य नहीं है, यह तो एक निरंतर प्रक्रिया है। माई अर्थ माई रिस्पोंसीबिल्टी कैंपेन का उद्देश्य समाज को इसी जीवनशैली की ओर बढ़ाना है। 
करीब ढाई वर्ष के काल के दौरान हमने अनेकों प्रकार से नागरिकों के मनों को हिलाने की कोशिश की है तथा यह किताब हमारे कार्यों, उपलब्धियों तथा यात्रा पाठ्यक्रम को सब के समक्ष खोल देगी। यह पूछने पर कि क्या यह किताब विमोचन प्रकरण शहर में मुहिम का अंत है तो इस पर प्रोग्राम के इंचार्ज तरसेम सिंह ने कहा कि माई अर्थ माई रिस्पोंसीबिल्टी मात्र एक मुहिम नहीं, वास्तव में यह जनता की मुहिम है क्योंकि पृथ्वी सब की है। यह एक कोशिश है जिसके द्वारा शहर के लोगों को मुहिम व उसके नतीजों से अवगत करवाया जा सकेगा। यह इस का अंत नहीं! अपितु हम इसकी आवाज को दूसरे स्तर तक ले जाने की सोच रहे हैं। संस्थान ने आगामी महीनों में शहर के भीतर वायु प्रदूशण को रोकने हेतु एक विशाल जागरूकता रैली निकालने का ऐलान किया। इसके अतिरिक्त संस्थान शहर के कुछ खास इलाकों में भी कुछ ख़ास कार्य करेगा। लुधियाना के इंचार्ज तरसेम सिंह ने एक नंबर 9779824000, 9915761850 दिया और कहा कि हम यह नंबर प्रैस के माध्यम से जारी कर रहे हैं जो कोई भी घर में पौधा रोपित करना चाहता है, वह इस नंबर पर संपर्क करे, उसे मुफत डिलीवरी दी जायेगी। कांफ्रेंस के अंत में तरसेम सिंह ने मीडिया कर्मियों का उनके सहयोग के लिए धन्यवाद भी दिया।

राष्ट्रपति की रक्षाबंधन की पूर्व संध्या पर शुभकामनाएं

06-अगस्त-2017 12:20 IST
प्रेम, स्नेह और परस्पर विश्वास का प्रतीक है रक्षा बन्धन
नई दिल्ली: 6 अगस्त 2017: (PIB और FIB मीडिया):: 
रक्षा बंधन के त्यौहार पर पूरे देश में उत्साह की लहर है। भाई बहन के पावन संबंधों और रक्षा जैसी गंभीर ज़िम्मेदारियों को बेहद गंभीरता से लेना जितना आज ज़रूरी है उतना शायद पहले कभी नहीं था। पश्चिमी आंधी के सामने डगमगा रही युवापीढ़ी भारत के सांस्कृतिक सिद्धांतों और मूल्यों को भूलती जा रही है। इस लिए राखी का त्यौहार एक ऐसा दिन है जो इन मूल्यों को फिर से जगा सकता है। रक्षाबंधन के बहाने पूरे समाज की  रक्षा हो सकती है। प्रसन्नता की बात है की महामहिम राष्ट्रपति ने भी इस दिवस पर देश वासियों को बधाई दी है। 
भारत के राष्ट्रपति श्री रामनाथ कोविंद ने रक्षाबंधन की पूर्व संध्या पर अपने संदेश में कहा:
“रक्षा बन्धन के शुभ अवसर पर मैं समस्त देशवासियों को अपनी हार्दिक शुभकामनाएं और बधाई देता हूं।

यह विशेष पर्व भाई-बहन के बीच वचनबद्धता के एक पवित्र संबंध के रूप में मनाया जाता है। प्रेम, स्नेह और परस्पर विश्वास का प्रतीक रक्षा बन्धन हमारे देश के सभी लोगों के लिए सुख और समृद्धि लाए। यह दिन भारतवासियों में भाईचारे की भावना को और सशक्त करने का अवसर बने, ऐसी मेरी मंगलकामना है।’’
आईये प्रार्थना करें कि भारतीय युवक को अपनी संस्कृति की पहचान फिर से आये और वो पश्चमी हवाओं के सामने एक पर्वत की तरह खड़ा हो जाये और उनका मुँह मोड़ दे। 
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AKT/SH


Wednesday 2 August 2017

जिला कानूनी सेवा ऑथोरिटी की तरफ से चार रोज़ा सेमिनार शुरू

चार अगस्त तक चलेगा यह सेमिनार 
FIB मीडिया की ख़ास रिपोर्ट  
लुधियाना:2 अगस्त 2017: (FIB//वी के बत्रा//स्वीटी बत्रा):: 
आप कितनी ही कोशिश कर लो लेकिन कोई न कोई क़ानूनी उलझ खड़ी हो ही जाती है। तब याद आती है अदालत और कानून। अदलात जाना कोई आसान काम नहीं होता। घर घात सब बिक जाता है और न्याय फिर भी नहीं मिलता। किसी के साथ ऐसा न हो इस मकसद के लिए एक विशेष आयोजन आजकल जिला कचहरी कम्प्लेक्स में चल रहा है। 
कोर्ट कॉम्प्लेक्स में जिला क़ानूनी सेवा ऑथोरिटी की तरफ से 1 अगस्त से 4 अगस्त  तक सेमिनार करवाया जा रहा है जिसमे पूरे लुधियाना जिले से चुने गए 60 पेरा लीगल वालंटियर को ट्रेंनिंग दी जा रही है। यह वालंटियर ही आम जनता को इंसाफ दिलाएंगे जिसके पास आम तौर पर ज़्यादा धन नहीं होता। 
ऑथोरिटी की सेक्रटरी कम सी जे एम मनयोग मैडम गुरप्रीत कौर ने पत्रकारो से बातचीत करते हुए बताया के यह ट्रेंनिंग 4 दिन तक चलेगी जिसमें आज समाज सुरक्षा कार्यालय से सेक्शन अफसर श्रीमती सुनीता गुप्ता , जिला फैमिली वैलफेयर आफिस से डॉक्टर एस.पी सिंह, डिस्ट्रिक्ट फ़ूड सप्लाई अफसर गुरिंदर सिंह और नरेगा अफसर मेडम रजनी भारद्वाज मुख्य मेहमान के तौर मार पहुंची थी।